इंडिया न्यूज सेंटर, जालंधर: दुनिया का सबसे सुंदर और भारत का राष्ट्रीय पक्षी है मोर। मोर का नाम सुनते ही उसकी सुंदरता का आभास दिल को छू जाता है। यह सुंदर पक्षी सुंदर होने के साथ अपना एक विशेष महत्व रखता है। धार्मिक रूप से देखा जाए तो मोर भगवान शिव के पुत्र कार्तिकेय (मुरुगन) का वाहन है। ऐसे लोग जिनकी जन्मकुंडली में राहू-केतु या कालसर्प दोष हो, यदि वह तकिए के खोल में 7 मोर पंख सोमवार की रात्रि में डालकर रखें और उस तकिये का उपयोग करें तो कालसर्प दोष दूर हो जाता है। कभी एकमात्र हिंदू राष्ट्र का दर्जा हासिल करने वाले नेपाल में मोर को ब्रह्माज की सवारी माना जाता है। वहीं जापान और थाईलैंड में भी मोर पंख पूज्य है। आयुर्वेद में भी मोर पंख की महत्ता के बारे में बताया गया है। मोर पंख से टीबी, लकवा, दमा, नजला तथा बांझपन जैसे रोगों का उपचार संभव होता है। ज्योतिष और वास्तु शास्त्र में मोर पंख को बहुत भाग्यशाली माना गया है। यदि कोई व्यक्ति शत्रु के भय से ग्रसित है तो उसे मोर पंख हमेशा अपने साथ रखना चाहिए। वहीं, नवजात शिशु के सिरहाने चांदी के ताबीज में एक मोर पंख भरकर रखने शिशु को डर नहीं लगेगा। वह नजर आदि से भी सुरक्षित रहेगा। भगवान श्रीकृष्ण का प्रिय मोर पंख ही है जिसे वह अपने मुकुट में धारण करते हैं। मोर पंख को घर में किसी ऐसी जगह पर रखना चाहिए जहां से वो आसानी से दिखाई देता रहे क्योंकि मोर पंख घर में मौजूद नकारात्मक शक्तियों को नष्ट कर सकारात्मक ऊर्जा का संचार करता है।