इंडिया न्यूज सेंटर, नई दिल्ली: देश के तमाम बड़े राज्यों के सामने देश के उत्तरपूर्वी हिस्से में बसा एक छोटा सा पहाड़ी राज्य सिक्किम एक मिसाल बन कर खड़ा हो गया है। स्वच्छ भारत की मुहिम में इस राज्य ने एक मुकाम हासिल किया है। प्रधानमंत्री ने सिक्किम के गंगटोक को देश के सबसे स्वच्छ पर्यटक स्थल के तौर पर सम्मानित भी किया है। ये सब मुमकिन हो पाया है यहां के लोगों की भागीदारी और राज्य सरकार के अथक प्रयासों से। वादियों की खूबसूरती से भरे पड़े सिक्किम की आबो हवा में ताजगी मन को आनंद से भर देती है। यही कारण है कि देशभर से लोग सिक्किम की ओर खीचे चले आते हैं लेकिन सिक्किम की ये खूबसूरती यहां के लोगों की बदौलत ही है। यहां का हर बाशिंदा कुदरत की तरफ अपनी जिम्मेदारी को बाखूबी जानता है। कुदरत में इंसानी दखल का असर कम से कम हो इसका यहां के निवासी बखूबी ध्यान रखते हैं इसीलिये आज सिक्किम को देश के सबसे साफ और सुंदर प्रदेशों में से एक माना जाता है। अपने वातारवरण को साफ और सुंदर रखने में सिक्किम ने एक मॉडल का रूप ले लिया है। यहां कि साफ सफाई के क्रम में स्कूलों को एक कड़ी बनाया गया है। यहां के स्कूलों का नजारा किसी टॉय शॉप या किसी म्यूजियम से कम नहीं है। पश्चिमी सिक्किम के ताशिडिंग के सरकारी स्कूल में बच्चे कचरे का पुन: इस्तेमाल कर उसे काम के लायक बना रहे हैं। स्कूल के आसपास के हर इलाके में बच्चों की कलाकारी के रंग बिखरे हुए हैं। लिंगचोंग के इस स्कूल में भी बच्चों की एक अलग सोच उकेरती दिखाई देती है जहां कोई भी सामान बेकार नहीं है हर चीज एक नया और व्यवस्थित रूप में मौजूद है।