इंडिया न्यूज सेंटर, फतेहाबादः 'मंजिल उन्हीं को मिलती है, जिनके सपनों में जान होती है, पंखों से कुछ नहीं होता, हौसलों से उड़ान होती है' ऐसा ही कुछ कर दिखाया फतेहाबाद के छोटे से गांव सूलीखेड़ा के किसान की लाड़ो ने। बचपन में सपने देखे और जवानी की दहलीज पर कदम रखते ही उसे साकार भी कर दिखाया। फतेहाबाद के ग्रामीण आंचल से प्रियंका पहली महिला पायलेट बनी। इस उपलब्धि को पाने के बाद गांव पहुंचने पर गांव वालों ने उसका स्वागत किया। प्रियंका की इस उपलब्धि से गांव में खुशी का माहौल है। बचपन में हवाई जहाज को उड़ता देख उसे उड़ाने की बात करने वाली प्रियंका की बातों को अक्सर उसके सहपाठी और परिजन हंसी उड़ा दिया करते थे, लेकिन प्रियंका ने उसे न केवल अपना लक्ष्य बनाया बल्कि पूरा भी कर दिखाया। आज प्रियंका आसमान में हवाई जहाज उड़ा रही है। प्रियंका ने कहा कि मन मे कुछ कर गुजरने की तमन्ना तो हर मुकाम को हासिल किया जा सकता है। जिन लोगों ने उनके सपनों का मजाक उड़ाया था, आज वही लोग मेरे द्वारा जहाज चलाए जाने की कला को देखने के लिए आसमान की तरफ टकटकी लगाए बैठे हैं। प्रियंका की इस उपलब्धि का पता चलते ही उसके परिजनों, सहपाठियों के साथ-साथ पूरे गांव में हर्ष का माहौल है।