Divisional Commissioner and DC seeks RS 270 crore flood compensation from GOI
Central inter-ministerial team visit flood hit villages of Jalandhar
डिवीज़नल कमिशनर और जिलाधीश ने मुआवज़े के तौर पर 270 करोड़ रुपए की रिपोर्ट पेश की
फसलों के नुक्सान की पूर्ति के लिए 224 करोड़ रुपए की मांग
इंडिया न्यूज सेंटर,लोहियां,जालंधरः केंद्रीय सरकार के अलग -अलग विभागों की 7 सदस्यीय अंत्र विभागीय टीम ने अनुज शर्मा संयुक्त सचिव, ग्रह विभाग के नेतृत्व में जालंधर जिले के बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों का दौरा किया। जिस दौरान डिवीजनल कमिशनर जालंधर डिवीज़न बी. पुरूशारथा और जिलाधीश वरिन्दर कुमार शर्मा ने केंद्रीय टीम को बाढ कारण हुए नुक्सान के बारे में जानकारी देने के साथ-साथ बाढ़ पीडितों के नुक्सान की पूर्ति और फिर पूर्नवास के लिए 270 करोड़ रुपए के मुआवज़े की रिपोर्ट भी सौंपी। केंद्रीय टीम में सहायक कमिशनर (कृषि) अशोक कुमार सिंह, डायरैक्टर (प्रबंध) एच. अथेली, डायरैक्टर (सी.सी.ए.) ऋषिका शरण, मुख्य इंजीनियर पी.के.शक्या, केंद्रीय ग्रामीण विकास मंत्रालय के अधीन सचिव (हुनर) भीम प्रकाश लते जल शक्ति मंत्रालय के एस.ई. (तालमेल) विनीत गुप्ता शामिल हैं। केंद्रीय टीम ने आज प्रातःकाल सब से पहले गाँव महराजवाला में 11 के.वी. सब स्टेशन का दौरा करके बिजली स्पलाई के बुनियादी ढांचे को हुए नुक्सान का जायज़ा लिया । इस के इलावा टीम ने चक्क बंडाला, मंडाला छन्ना, मुंडी चोलिया, गट्टा मंडी कासू और नल गाँवों का दौरा करके बाढ़ कारण हुए नुक्सान का जायज़ा लिया गया। जिलाधीश ने बताया कि भाखड़ा डैम से 2.40 लाख क्यूसिक पानी फलड्ड फाटकों के द्वारा छोड़े जाने कारण जालंधर जिले में कुल 22 स्थानों पर धुस्सी बाँध में दरार कारण आया, शाहकोट और फिल्लौर तहसीलों में फसलों, बुनियादी ढांचे, सड़कों, बिजली स्पलाई, स्कूलों, पीने वाले पानी की स्पलाई को कुल 270 करोड़ रुपए का नुक्सान पहुँचा है। जिलाधीश ने केंद्रीय टीम को ज़िला प्रशासन और समाज सेवीं संस्थायों की तरफ से लोगों को बाढ़ के बाद राहत देने के लिए तुरंत उठाए कदमों और वर्तमान समय चल रहे पुनरवसेबा के काम के बारे में जानकारी दी। ज़िला प्रशासन ने केंद्रीय टीम को नुक्सान सम्बन्धित रिपोर्ट सौंपी जिसमें फसलों के नुक्सान की पूर्ति और मियादी कर्ज़ की समय सीमा आगे बढाने .224 करोड़ रुपए, पशुधन के नुक्सान की पूर्ति के लिए 78.25 लाख, 29 गाँवों में घरों को हुए नुक्सान के मुआवज़े के तौर पर 15 करोड़ रुपए, बाँध में पड़े दरार की पूर्ति और धुस्सी बाँध की मज़बूती के लिए 20 करोड़ रुपए, 83 किलोमीटर लम्बी सड़कें की मुरम्मत के लिए 7 करोड़ रुपए, 15 रजबाहो की मुरम्मत के लिए 1.5 करोड़, महराजवाला में 66 के.वी. सब स्टेशन और इलाके अंदर नुकसाने गए 200 ट्रांसफ़र्मरों और मीटरों की मुरम्मत आदि की पूर्ति के लिए 1करोड़ रुपए, बाढ प्रभावित के शारीरिक नुक्सान के लिए 4 लाख रुपए, बाढ़ प्रभावित गाँवों के लोगों के लिए आरज़ी रहने -सहन के प्रबंधों के लिए 30 लाख रुपए, 80 लाख रुपए भोजन और पीने वाले पानी की स्पलाई के लिए, बाढ़ के पानी की रिहायशी क्षेत्रों में से निकासी के लिए 15 लाख रुपए के मुआवज़े की माँग की गई है। केंद्रीय टीम ने अलग -अलग प्रभावित गाँवों के लोगों के साथ भी बातचीत की और गिद्दड़पिंडी में सतलुज दरिया पर बने पुल के द्वारा के पास के रेलवे पुल का निरीक्षण भी किया। इस के इलावा टीम की तरफ से गाँव जानियां और गट्टा मुंडी और कासू में धुस्सी बाँध में दरार आने वाले स्थानों का भी दौरा किया। उन्होनें पंजाब सरकार के बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों में पुनर वसेबे के लिए किये जा रहे यतनों की पूरा प्रशंसा की। इस अवसर पर अतिरिक्त डिप्टी कमिशनर कुलवंत सिंह, एस.डी.एम. शाहकोट डा.चारूमिता, रखवाला इंजीनियर ड्रेनज़ मनजीत सिंह, एस.ई.पी. एस.पी.सी.एल. इन्दरपाल सिंह, ज़िला शिक्षा अधिकारी हरिन्दरपाल सिंह और रामपाल सैनी, मुख्य कृषि अधिकारी डा. नाज़र सिंह, डिप्टी डायरैक्टर पशुपालन डा. एम.पी.एस. बंगड़, ज़िला माल अधिकारी जशनजीत सिंह, कारजाकारी इंजीनियर कुलविन्दर सिंह, अजीत सिंह और राम रत्न, माल अधिकारी इंद्र देव सिंह मिनहास और सवपनदीप कौर