PUNJAB CM APPROVES WHEAT SEED POLICY TO PROVIDE SUBSIDISED CERTIFIED SEED TO FARMERS
RS. 18.50 CR SUBSIDY TO BENEFIT 2.5 LAKH FARMERS, SMALL & MARGINAL FARMERS TO GET PRIORITY
18.50 करोड़ रुपए की सब्सिडी से 2.5 लाख किसानों को पहुँचेगा लाभ, छोटे और सीमांत किसानों को दी जायेगी प्राथमिकता
इंडिया न्यूज सेंटर,चंडीगढ़ : पंजाब के मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिन्दर सिंह ने आज रबी सीजन के दौरान किसानों को 50 प्रतिशत सब्सिडी पर गेहूँ का प्रमाणित बीज मुहैया करवाने के लिए कृषि विभाग की गेहूँ के बीज सम्बन्धी सब्सिडी नीति-2020-21 को मंज़ूरी दे दी है। इस नीति के अंतर्गत किसानों को 18.50 करोड़ रुपए की सब्सिडी के साथ कुल 1.85 लाख क्विंटल प्रमाणित बीज मुहैया करवाया जायेगा जिससे सीधे तौर पर लगभग 2.5 लाख किसानों को लाभ पहुँचेगा।
मुख्यमंत्री ने विभाग को निर्देश दिए हैं कि छोटे और सीमांत किसानों को सब्सिडी वाला बीज मुहैया करवाने को पहल दी जाये। उन्होंने कहा कि सब्सिडी सिफऱ् योग्य किसानों को दी जाये और सब्सिडी की राशि सीधे लाभार्थीयों के खातों में ट्रांसफर की जाये।
मुख्यमंत्री ने अतिरिक्त मुख्य सचिव (विकास) अनिरुद्ध तिवारी को निर्देश दिए हैं कि वह कृषि विभाग के अधिकारियों/कर्मचारियों को अपने क्षेत्र में बेचे जा रहे बीजों की बारीकी से निगरानी करने के लिए विस्तृत निर्देश जारी करें। उन्होंने अतिरिक्त मुख्य सचिव (विकास) को यह यकीनी बनाने के लिए कहा है कि किसानों तक सिफऱ् मानक बीज ही पहुँचें। मुख्यमंत्री ने चेतावनी दी कि यदि इस सम्बन्ध में कोई शिकायत मिलती है या कोई गलत कार्यवाही सामने आती है तो बीज एजेंसियों के सम्बन्धित अधिकारी/कर्मचारी के साथ-साथ जि़ला और ब्लॉक स्तरीय कृषि अधिकारी को भी इसके लिए सीधे तौर पर जि़म्मेदार माना जायेगा।
सब्सिडी लेने के इच्छुक किसान 1 नवंबर से अपने क्षेत्रों के कृषि विभाग के कार्यालयों में आवेदन जमा कर सकते हैं। इस दौरान अतिरिक्त मुख्य सचिव (विकास) ने कहा कि कृषि विभाग ने किसानों को सब्सिडी दरों पर गेहूँ का बीज मुहैया करवाने के लिए आवश्यक प्रबंधों को यकीनी बनाया है। सब्सिडी बीज की कुल कीमत के 50 प्रतिशत के बराबर या अधिक से अधिक 1000 रुपए प्रति क्विंटल के हिसाब से योग्य किसानों के बैंक खातों में सीधे ट्रांसफर की जायेगी और गेहूँ के बीज पर सब्सिडी अधिक से अधिक 5 एकड़ क्षेत्रफल के लिए दी जायेगी।
गौरतलब है कि रबी सीजन 2020-21 के दौरान राज्य के लगभग 35 लाख हेक्टेयर क्षेत्रफल में गेहूँ की खेती होने की उम्मीद है।