126 मुस्लिम बहुल विधानसभा सीटों में से 99 सीटों पर भाजपा की जीत
75 में से 31 जिलों में भाजपा की क्लीन स्वीप
इंडिया न्यूज सेंटर, लखनऊः मुस्लिम महिलाओं ने भी इस बार उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव में भाजपा का साथ दिया। बता दें तीन तलाक के मुद्दे पर मुस्लिम महिलाओं का केंद्र सरकार ने खुलकर समर्थन किया था। इस महत्वपूर्ण मसले पर किसी भी राजनीतिक दल ने मुस्लिम महिलाओं का साथ नही दिया था। यही नहीं मुस्लिम धर्मगुरुओं और मुस्लिम नेताओं ने भी मोदी सरकार को हिदायत दी थी कि वह उनके धार्मिक और जाती मामलों में दखलंदाजी न करें लेकिन इसके बाद भी मोदी सरकार ने अपने किसी फायदे व नुकशान के की परवाह किए बगैर इस बात पर अड़ी रही कि यह नारी अस्मिता और उस पर होने वाले अन्याय का मामला है और केंद्र सरकार किसी के भी साथ अन्याय नहीं होने देगी। यही बात मुस्लिम महिलाओं को रास आई और उसने जाति-धर्म से ऊपर उठकर भाजपा का साथ दिया। यह जानते हुए भी कि इस बार भाजपा ने किसी भी मुस्लिम को टिकट नहीं दिया है। मुस्लिम महिलाओं के भाजपा के साथ देने को तैयार हो गई और सभी महिलाओं ने भाजपा के हक में अपना वोट किया है। मायावती परेशान हैं कि मुस्लिम बहुल इलाकों में भाजपा कैसे जीत गई। उन्हें लग रहा है कि इलेक्ट्रानिक वोटिंग मशीनों में छेड़छाड़ की गई है लेकिन उन्हें यह क्यों नहीं लगता कि लगभग 10 प्रतिशत मुस्लिम महिलाओं ने जाति-धर्म से ऊपर उठकर विकास और सामाजिक न्याय की स्थापना के लिहाज से भाजपा के पक्ष में वोट कर दिया है। मुस्लिम पुरुषों ने जहां सपा और बसपा के पक्ष में मतदान किया, वहीं मुस्लिम महिलाओं ने भाजपा की ओर रुख कर सपा, बसपा और कांग्रेस की जड़ें हिला दीं है। प्रदेश की 126 मुस्लिम बहुल विधानसभा सीटों में से 99 सीटों पर भाजपा की जीत से विरोधी दल भी हैरान हैं। प्रदेश में 75 में से 31 जिलों में भाजपा की क्लीन स्वीप में युवाओं और महिलाओं की बड़ी भूमिका रही है।