इंडिया न्यूज सेंटर, चंडीगढ़:
पंजाब में सरकारी नौकरी के लिए भी पंजाबी जरूरी है परंतु कैप्टन सरकार ने वकीलों की भर्ती में पंजाबी भाषा को दरकिनार कर दिया है। यह आरोप लगाते हुए लोक इंसाफ पार्टी के अध्यक्ष व विधायक सिमरजीत सिंह बैंस ने कहा कि वह यह मुद्दा अब आने वाले विधानसभा सत्र में उठाएंगे। कांग्रेस ने चुनाव घोषणा पत्र में पंजाबी को बढ़ावा देने का वायदा किया था परंतु वह इसके विपरीत चल रही है। उन्होंने कहा कि ए.जी. कार्यालयों में पदों की भर्ती में कैप्टन सरकार ने मातृ भाषा पंजाबी की मान्यता रद्द की है।