अकाली दल को अपनी सत्ता दौरान एक भी प्राप्ति गिनवाने की दी चुनौती
इंडिया न्यूज सेंटर,अमृतसरः पंजाब के मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह ने फ़सली कर्जे माफ करने, लंगर पर जी.एस.टी और दूसरे मुद्दों संबंधी राज्य के लोगों को गुमराह करने के लिए अकाली नेता सुखबीर सिंह बादल और हरसिमरत कौर बादल की तीखी आलोचना की है और उनको सूबे में अपनी पार्टी के शासन दौरान कोई एक भी प्रभावशाली प्राप्ति बताने की चुनौती दी है। घटिया नीतियों और दृष्टिहीन कार्यक्रमों के द्वारा सूबे को तबाह करने के लिए बादल पति -पत्नी पर तीखा हमला करते हुए मुख्यमंत्री ने विभाजन संबंधी अजायब घर का उद्घाटन करने के बाद पत्रकारों के साथ बातचीत करते हुए कहा कि अकालियों ने अपने 10 वर्षो के शासन दौरान सूबे के घुटने टिका दिये हैं। सुखबीर और उसके जोड़ीदारों ने सूबे व इसकी संपत्ति को तबाह कर दिया है और पंजाब को उसके मान और गौरव से वंचित कर दिया है। कांग्रेस सरकार के चार माह के शासन पर किंतु -परंतु करने के लिए शिरोमणी अकाली दल के प्रधान सुखबीर बादल की आलोचना करते हुए कैप्टन अमरिंदर सिंह ने उनको यह स्पष्ट करने के लिए चुनौती दी कि उन्होंने पिछले एक दशक दौरान पंजाब के लिए क्या किया है। मुख्यमंत्री ने सुखबीर को अपने भीतर झांकने की अपील करते हुए कहा कि वह यह बतायें कि अकाली सरकार ने पंजाब को क्या दिया। उन्होंने कहा कि उनको सत्ता संभाले अभी चार महीने ही हुए हैं और उन्हों ने सूबे और यहां के लोगों के कल्याण के लिए अनेकों ऐतिहासिक कदम उठाए हैं। लंगर और प्रसाद पर जी.एस.टी से छूट के संबंध में कैप्टन अमरिंदर सिंह ने कहा कि उन्होंने यह मुद्दा केंद्रीय वित्त मंत्री के पास उठाया है और इस की पैरवी कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि यह मुद्दा केंद्र सरकार के पास पड़ा है और केंद्रीय फूड और प्रोसेसिंग मंत्री हरसिमरत कौर बादल को यह मुद्दा सूबा सरकार पर मढऩे की जगह लंगर पर जी.एस.टी से छूट दिलानी चाहिए। टी. हक समिति की रिपोर्ट संबंधी पूछे एक सवाल के जवाब में मुख्यमंत्री ने कहा कि उनकी सरकार ने पहले ही सूबे के 10.25 लाख छोटे और दर्मियाने किसानों के कजऱ्े माफ कर दिए हैं। हक कमेटी अब किसान भाईचारे के साथ संबंधित अन्य मुद्दों पर काम कर रही है और यह जल्दी ही अपनी अंतिम रिपोर्ट पेश कर देगी। उन्होंने इस मुद्दे पर अपने स्वार्थी राजनैतिक हितों के लिए अकालियों और अन्य राजनैतिक पार्टियों पर लोगों को गुमराह करने का दोष लगाया। इस से पहले मुख्य मंत्री ने शहीद मदन लाल ढींगरा को उन के शहीदी दिवस मौके श्रद्धाँजलि भेंट की।